प्रदेश में नए साल की शुरुआत में लागू हो सकता है समान नागरिक संहिता कानून

देहरादून। उत्तराखंड में समान नागरिक संहिता का इंतजार नए साल पर खत्म हो सकता है जिसकी पुष्टि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कर दी है जिन्होंने अपने बयान में कहा है कि जनवरी 2025 में प्रदेश में समान नागरिक संहिता लागू की जाएगी जिसके लिए सभी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। और अगर ऐसा होता है तो उत्तराखंड देश में ऐसा पहला राज्य बन जाएगा जो आजादी के बाद प्रदेश में समान नागरिक संहिता लागू करेगा।

दरअसल बुधवार को सचिवालय में उत्तराखंड निवेश और आधारिक संरचना विकास बोर्ड यानी UIIDB की बैठक के दौरान सीएम श्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि प्रदेश सरकार अपने संकल्प के अनुसार, समान नागरिक संहिता लागू करने की दिशा में होमवर्क पूरा कर चुकी है और विधेयक पर महामहिम राष्ट्रपति की सहमति मिलने के बाद 12 मार्च, 2024 को इसका नोटिफिकेशन जारी किया गया। इसी क्रम में अब समान नागरिक संहिता, उत्तराखण्ड 2024 अधिनियम की नियमावली भी तैयार कर ली है। इस तरह उत्तराखंड अब जनवरी से समान नागरिक संहिता लागू करने के लिए पूरी तरह तैयार है, उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए, संहिता के प्रावधान लागू करने के लिए कार्मिकों का समुचित प्रशिक्षण देने के साथ ही सभी तरह की आधारभूत सुविधाएं जुटा ली जाएं। साथ ही अधिक से अधिक सेवाओं को ऑनलाइन रखते हुए, जनसामान्य की सुविधा का ख्याल रखा जाए।

मुख्यमंत्री ने कहा कि जन सामान्य की सुलभता के दृष्टिगत समान नागरिक संहिता लागू करने के लिए एक पोर्टल तथा मोबाइल एप भी तैयार किया गया है, जिससे कि पंजीकरण, अपील आदि की समस्त सुविधाएं ऑनलाइन माध्यम से उपलब्ध कराई जा रही हैं।

जनवरी, 2025 में उत्तराखंड में राज्य समान नागरिक संहिता लागू हो जाएगी। उत्तराखंड का समान नागरिक संहिता कानून, सबका साथ, सबका विकास और सबका विश्वास की मूल भावना पर चलते हुए, समाज को नई दिशा देगा। यह कानून विशेषकर देवभूमि की महिलाओं और बच्चों के सशक्तिकरण के नए द्वार खोलेगा।

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